8 ث - ترجم

श्रद्धेय हनुमान प्रसाद पोद्दार 'भाई जी' अध्यात्म जगत के दृढ़ स्तंभ थे।

'कल्याण' पत्रिका के आदि संपादक के रूप में वे आजीवन सनातन की सेवा में समर्पित रहे। स्वाधीनता संग्राम में उनकी भूमिका अत्यंत महत्वपूर्ण थी।

आज उनकी पुण्यतिथि पर उन्हें कोटिश: नमन!

image