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लोहाघाट भारतीय राज्य उत्तराखण्ड के चम्पावत जनपद में स्थित एक प्रसिद्ध शहर, नगर पंचायत और हिल स्टेशन है। मनोरम प्राकृतिक सौंदर्य से परिपूर्ण चारों ओर से छोटी-छोटी पहाड़ियों से घिरा यह नगर पौराणिक एवं ऐतिहासिक दृष्टि से अत्यधिक महत्वपूर्ण स्थान रहा है। जनपद मुख्यालय से 13 किमी उत्तर की ओर टनकपुर-तवाघाट राष्ट्रीय राजमार्ग में लोहावती नदी के किनारे देवीधार, फोर्ती, मायावती, एबटमाउंट, मानेश्वर, बाणासुर का किला, झूमाधूरी आदि विशेष धार्मिक एवं ऐतिहासिक स्थलों के मध्य स्थित होने से इस नगर की सुन्दरता और बढ़ जाती है। जनपद का यह मुख्य शहर जहां से ग्रामीण क्षेत्रों को आवागमन होता है, प्रमुख व्यापारिक स्थल भी है। इसलिए इसे जनपद चम्पावत का हृदयस्थल कहा जाता है। देवदार वनों से घिरे इस नगर की समुद्रतल से ऊँचाई लगभग ५५०० फ़ीट है।

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उत्तराखंड की #शगुन_उनियाल ने महज 12 वर्ष की उम्र में गायिकी शुरू की थी। #टिहरी गढ़वाल जिले की रहने वाली शगुन उनियाल की संगीत के क्षेत्र में शगुन उनियाल एक ऐसा नाम है जो उत्तराखंड से बाहर दिल्ली में रहकर भी इतनी छोटी सी उम्र में पहाड़ की संस्कृति को अपने गायन से बचाने का हरसंभव प्रयास कर रही है। उनके गीत दूर छा विदेश बाबा जी वाकई दिल छू लेने वाला खुदेड़ गीत है। इसके साथ ही जय मां राजराजेश्वरी भजन भी बेहद खूबसूरत है। शगुन सबसे कम उम्र की गायिका हैं जो उत्तराखंड संगीत जगत में छाई हुई है।
#shgununiyal #uttrakhand #pahadi

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उत्तराखंड की #शगुन_उनियाल ने महज 12 वर्ष की उम्र में गायिकी शुरू की थी। #टिहरी गढ़वाल जिले की रहने वाली शगुन उनियाल की संगीत के क्षेत्र में शगुन उनियाल एक ऐसा नाम है जो उत्तराखंड से बाहर दिल्ली में रहकर भी इतनी छोटी सी उम्र में पहाड़ की संस्कृति को अपने गायन से बचाने का हरसंभव प्रयास कर रही है। उनके गीत दूर छा विदेश बाबा जी वाकई दिल छू लेने वाला खुदेड़ गीत है। इसके साथ ही जय मां राजराजेश्वरी भजन भी बेहद खूबसूरत है। शगुन सबसे कम उम्र की गायिका हैं जो उत्तराखंड संगीत जगत में छाई हुई है।
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उत्तराखंड की #शगुन_उनियाल ने महज 12 वर्ष की उम्र में गायिकी शुरू की थी। #टिहरी गढ़वाल जिले की रहने वाली शगुन उनियाल की संगीत के क्षेत्र में शगुन उनियाल एक ऐसा नाम है जो उत्तराखंड से बाहर दिल्ली में रहकर भी इतनी छोटी सी उम्र में पहाड़ की संस्कृति को अपने गायन से बचाने का हरसंभव प्रयास कर रही है। उनके गीत दूर छा विदेश बाबा जी वाकई दिल छू लेने वाला खुदेड़ गीत है। इसके साथ ही जय मां राजराजेश्वरी भजन भी बेहद खूबसूरत है। शगुन सबसे कम उम्र की गायिका हैं जो उत्तराखंड संगीत जगत में छाई हुई है।
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उत्तराखंड की #शगुन_उनियाल ने महज 12 वर्ष की उम्र में गायिकी शुरू की थी। #टिहरी गढ़वाल जिले की रहने वाली शगुन उनियाल की संगीत के क्षेत्र में शगुन उनियाल एक ऐसा नाम है जो उत्तराखंड से बाहर दिल्ली में रहकर भी इतनी छोटी सी उम्र में पहाड़ की संस्कृति को अपने गायन से बचाने का हरसंभव प्रयास कर रही है। उनके गीत दूर छा विदेश बाबा जी वाकई दिल छू लेने वाला खुदेड़ गीत है। इसके साथ ही जय मां राजराजेश्वरी भजन भी बेहद खूबसूरत है। शगुन सबसे कम उम्र की गायिका हैं जो उत्तराखंड संगीत जगत में छाई हुई है।
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