imageimage
2 yıl - çevirmek

🚀 Join the #blockchain Development Challenge 2023 by @Blockchainappsdeveloper!

Explore : bit.ly/3JH0ZSv

Unlock your coding skills and compete for exciting rewards. Don't miss this opportunity to showcase your talent and be a part of the future of technology!

#blockchainchallenge #codingcompetition #techinnovation #blockdevchallenge2023 #techinnovators2023 #blockchaincodingchallenge #developercompetition2023

image

image
ecommnerceadsnetwork 7searchPPC Yeni makale yazdı
2 yıl - çevirmek

15 Native Ads Ecommerce Platform Ads Alternative Network for Online Ads | #native Ads # Ecommerce Platform Ads Alternative Network Ecommerce Platform Ads Alternative # Ecommerce Platform Ads # E-commerce ads

image
2 yıl - çevirmek

jai shri ram

image
2 yıl - çevirmek

20 जून को जगन्नाथ पुरी के राजा भगवान जग्गनाथ यात्रा के दौरान स्वयं अपने हाथों से सोने की झाडू़ लगाते है
महाप्रभु जगन्नाथ को कलियुग का भगवान भी कहते है..। पुरी में जगन्नाथ महाप्रभु अपनी बहन सुभद्रा और दाऊ बलराम के साथ निवास करते है मगर रहस्य ऐसे है कि आजतक कोई न जान पाया..!
हर 12 साल में महाप्रभु की मूर्ती को बदला जाता है,उस समय पूरे पुरी शहर में ब्लैकआउट किया जाता है यानी पूरे शहर की लाइट बंद की जाती है। लाइट बंद होने के बाद मंदिर परिसर को CRPF की सेना चारो तरफ से घेर लेती है...उस समय कोई भी मंदिर में नही जा सकता।मंदिर के अंदर घना अंधेरा रहता है...पुजारी की आँखों मे पट्टी बंधी होती है...पुजारी के हाथ मे दस्ताने होते है..वो पुरानी मूर्ती से "ब्रह्म पदार्थ" निकालते है और नई मूर्ती में डाल देते है...ये ब्रह्म पदार्थ क्या है आजतक किसी को नही पता...इसे आजतक किसी ने नही देखा. ..हज़ारो सालो से ये एक मूर्ती से दूसरी मूर्ती में ट्रांसफर किया जा रहा है...
ये एक अलौकिक पदार्थ है जिसको छूने मात्र से किसी इंसान के जिस्म के चिथड़े उड़ जाए। इस ब्रह्म पदार्थ का संबंध भगवान श्री कृष्ण से है...मगर ये क्या है, कोई नही जानता...ये पूरी प्रक्रिया हर 12 साल में एक बार होती है उस समय सुरक्षा बहुत ज्यादा होती है...मगर आजतक कोई भी पुजारी ये नही बता पाया की महाप्रभु जगन्नाथ की मूर्ती में आखिर ऐसा क्या है...??
कुछ पुजारियों का कहना है कि जब हमने उसे हाथ में लिया तो खरगोश जैसा उछल रहा था...आंखों में पट्टी थी...हाथ मे दस्ताने थे तो हम सिर्फ महसूस कर पाए...
भगवान जगन्नाथ मंदिर के सिंहद्वार से पहला कदम अंदर रखते ही समुद्र की लहरों की आवाज अंदर सुनाई नहीं देती, जबकि आश्चर्य में डाल देने वाली बात यह है कि जैसे ही आप मंदिर से एक कदम बाहर रखेंगे, वैसे ही समुद्र की आवाज सुनाई देंगी
आपने ज्यादातर मंदिरों के शिखर पर पक्षी बैठे-उड़ते देखे होंगे, लेकिन जगन्नाथ मंदिर के ऊपर से कोई पक्षी नहीं गुजरता।
झंडा हमेशा हवा की उल्टी दिशामे लहराता है
दिन में किसी भी समय भगवान जगन्नाथ मंदिर के मुख्य शिखर की परछाई नहीं बनती।
भगवान जगन्नाथ मंदिर के 45 मंजिला शिखर पर स्थित झंडे को रोज बदला जाता है, ऐसी मान्यता है कि अगर एक दिन भी झंडा नहीं बदला गया तो मंदिर 18 सालों के लिए बंद हो जाएगा
इसी तरह भगवान जगन्नाथ मंदिर के शिखर पर एक सुदर्शन चक्र भी है, जो हर दिशा से देखने पर आपके मुंह आपकी तरफ दीखता है।
भगवान जगन्नाथ मंदिर की रसोई में प्रसाद पकाने के लिए मिट्टी के 7 बर्तन एक-दूसरे के ऊपर रखे जाते हैं, जिसे लकड़ी की आग से ही पकाया जाता है, इस दौरान सबसे ऊपर रखे बर्तन का पकवान पहले पकता है।
भगवान जगन्नाथ मंदिर में हर दिन बनने वाला प्रसाद भक्तों के लिए कभी कम नहीं पड़ता, लेकिन हैरान करने वाली बात ये है कि जैसे ही मंदिर के पट बंद होते हैं वैसे ही प्रसाद भी खत्म हो जाता है।
जय जगन्नाथ❤️🙏

image

image

image

image