Descobrir PostagensExplore conteúdo cativante e diversas perspectivas em nossa página Descobrir. Descubra novas ideias e participe de conversas significativas
#जयस्तम्भ_चौक:- हजारो लोग रोज इस चौक से रुक कर व होकर कर गुजरते है,लेकिन बहुत कम ही लोग इसके एतिहासिक महत्व के बारे मे जानते है,की आज ही के दिन 10 दिसम्बर 1857 के समय इसी चौक पे हमारे छत्तीसगढ के प्रथम स्वतंत्रता सेनानी शहीद वीर नारायण सिंह जी को बांध कर फाँसी दे दी गयी थी, और उनके शव को तोप से उड़ा दिया गया था, 10 दिसंबर, शहीद वीर नारायण सिंह जी के शहादत दिवस पर उनको सादर नमन है