2013 की प्राकृतिक #आपदा के दौरान पहाड़, मैदान सभी जगह मंदिरों को भी बहुत क्षति पहुंची। पहाड़ों में कई शिवालयों और दूसरे मंदिरों को क्षति पहुंची तो मैदानी क्षेत्र में कई स्थानों पर वाल्मीकि मंदिर और रविदास जी के मंदिर क्षतिग्रस्त हुये। हमारी सरकार ने इन दोनों स्थानों के मंदिरों, पर्वतीय स्थानों में भी और मैदानी स्थानों में भी क्षति ग्रस्त मंदिरों में सुधार कार्य और उन मंदिरों के सौंदर्यीकरण का कार्य और कई स्थानों में मूर्ति स्थापित करने का कार्य पूरा किया। पर्वतीय क्षेत्रों में जैसे बूढ़ा केदार का मंदिर है। आप कहीं चले जाइए पुराने मंदिरों में तो आप देखेंगे की वहां जो भी सुधार के कार्य हुए वह हमारे उसी कालखंड में हुये, जिस समय कांग्रेस की सरकार थी 2014 से 2017 तक उस समय पूरे हुए। मैंने बूढ़ा केदार मंदिर का तो एक उदाहरण बताया, उसी प्रकार से मैदानी क्षेत्रों में रविदास मंदिरों और बाल्मीकि मंदिरों की मरम्मत और उनके सौंदर्यकरण के काम को किया गया। बल्कि इस हेतु तो हमने अलग से फंड भी निर्धारित किया। हमने कहा इसको एक सतत् प्रक्रिया के तहत लाया जाए। क्योंकि अनेक स्थानों पर श्रद्धा है लोगों की, साधन नहीं है तो मंदिर बहुत छोटे आकार में थे और साथ-साथ उनके चारों तरफ लोगों के बैठने आदि के स्थान नहीं थे तो हमने वहां टाइल बिछाने और उनकी चार दिवारी करने आदि के काम की भी मंजूरियां दी। क्योंकि भाजपा तो आजकल किसी को भी सनातनी, गैर सनातनी, हिंदू-गैर हिन्दू का सर्टिफिकेट दे देते हैं। लेकिन हम तो आपके दरबार में हैं, जनता-जनार्दन के दरबार में हैं।
आप बताएं कि हमारे इन कदमों से, मंदिरों के मरम्मत आदि के काम को करवाने से, सौंदरीकरण करवाने व मूर्ति स्थापित करने के कार्य से हमने सनातन धर्म को मजबूत किया या कमजोर? यह आपको तय करना है। क्योंकि भाजपा का जो यह दुष्प्रचार है, वह दुष्प्रचार की काठ में सत्य को आगे लाना हमारा कर्तव्य है। लेकिन उस सत्य के आधार पर भाजपा को जवाब देना, यह कदम आप ही उठा सकते हैं।